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Love Marriage Yoga in Astrology and Zodiac Rashifal

किस राशि की लव मैरिज होगी? | Love Marriage Yoga in Kundali | Rashifal

Love Marriage Yoga प्यार हर किसी के जीवन का सबसे सुंदर अनुभव है। बहुत से लोग चाहते हैं कि उनका विवाह प्रेम विवाह (Love Marriage) के रूप में हो। परंतु, क्या यह केवल इच्छा से संभव है? वैदिक ज्योतिष के अनुसार, जन्म कुंडली (Kundali) में विशेष योग (Love Marriage Yoga) होने पर ही व्यक्ति का प्रेम विवाह संभव होता है।
इस लेख में हम विस्तार से समझेंगे कि किस राशि (Zodiac Sign) और ग्रह योग के प्रभाव से लव मैरिज बनती है, साथ ही प्रत्येक राशि का राशिफल भी देखेंगे।


लव मैरिज योग: कुंडली में कौन से कारक जिम्मेदार हैं?

  1. पंचम भाव (5th House) – यह प्रेम और आकर्षण का भाव है।
  2. सप्तम भाव (7th House) – यह विवाह और जीवनसाथी का भाव है।
  3. ग्रहों की दृष्टि (Planetary Aspects) – शुक्र (Venus), राहु (Rahu) और चंद्र (Moon) की स्थिति प्रेम विवाह में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।
  4. द्वादश भाव (12th House) – गुप्त प्रेम और विदेशी जीवनसाथी की संभावनाएँ दिखाता है।
  5. दशा और गोचर (Dasha & Transit) – उचित ग्रह दशा मिलने पर प्रेम विवाह तय होता है।

किन राशियों में लव मैरिज की संभावना अधिक होती है?

1. मेष राशि (Aries)

मेष राशि वाले लोग स्वभाव से स्वतंत्र और साहसी होते हैं। ये अपने फैसले खुद लेना पसंद करते हैं।

  • पंचम भाव में शुक्र या राहु होने पर लव मैरिज की प्रबल संभावना रहती है।
  • मेष जातक अक्सर प्रेम विवाह के लिए परिवार को भी मना लेते हैं।

2. वृषभ राशि (Taurus)

वृषभ राशि पर शुक्र का स्वामित्व है। प्रेम और संबंध इनके लिए जीवन का मुख्य हिस्सा होते हैं।

  • अगर सप्तम भाव में चंद्र या शुक्र हो तो प्रेम विवाह तय हो सकता है।
  • वृषभ राशि के जातक अपने रिश्ते को स्थायी बनाना चाहते हैं।

3. मिथुन राशि (Gemini)

मिथुन राशि वाले लोग बातूनी, दोस्ताना और आकर्षक होते हैं।

  • पंचम भाव पर राहु या शुक्र का प्रभाव हो तो प्रेम विवाह निश्चित है।
  • अक्सर ये जातक दोस्ती से शुरू करके प्रेम तक पहुँचते हैं।

4. कर्क राशि (Cancer)

कर्क राशि वाले भावुक और संवेदनशील होते हैं।

  • अगर पंचम भाव में चंद्र और शुक्र की युति हो तो प्रेम विवाह निश्चित है।
  • ये जातक जीवनसाथी के प्रति बहुत समर्पित रहते हैं।

5. सिंह राशि (Leo)

सिंह राशि वाले रोमांटिक और आत्मविश्वासी होते हैं।

  • सप्तम भाव में सूर्य या शुक्र होने पर लव मैरिज का योग बनता है।
  • अक्सर जातक अपने प्रेम को समाज में खुलकर स्वीकारते हैं।

6. कन्या राशि (Virgo)

कन्या राशि वाले व्यावहारिक होते हैं, परंतु सही योग होने पर प्रेम विवाह करते हैं।

  • पंचम भाव पर शुक्र और राहु का मेल लव मैरिज की संभावना बढ़ाता है।

7. तुला राशि (Libra)

तुला राशि वाले लोग रिश्तों और प्रेम के प्रतीक माने जाते हैं।

  • इनकी कुंडली में पंचम या सप्तम भाव पर शुक्र की स्थिति लव मैरिज सुनिश्चित करती है।
  • तुला राशि वाले जातक प्रेम के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं।

8. वृश्चिक राशि (Scorpio)

वृश्चिक राशि वाले गहरे और रहस्यमयी प्रेमी होते हैं।

  • पंचम भाव पर मंगल और शुक्र की युति लव मैरिज करवाती है।
  • इनके रिश्ते अक्सर गुप्त रहते हैं पर अंत में विवाह तक पहुँचते हैं।

9. धनु राशि (Sagittarius)

धनु राशि वाले स्वतंत्रता-प्रेमी होते हैं।

  • सप्तम भाव में गुरु या शुक्र होने पर प्रेम विवाह निश्चित होता है।
  • ये जातक विदेशी या अलग संस्कृति में विवाह कर सकते हैं।

10. मकर राशि (Capricorn)

मकर राशि वाले गंभीर और परंपरागत होते हैं।

  • अगर राहु पंचम भाव में हो तो ये जातक परंपरा तोड़कर लव मैरिज कर सकते हैं।

11. कुंभ राशि (Aquarius)

कुंभ राशि वाले आधुनिक सोच के होते हैं।

  • सप्तम भाव पर राहु या शुक्र की दृष्टि प्रेम विवाह का संकेत देती है।
  • ये जातक अक्सर अंतरजातीय विवाह करते हैं।

12. मीन राशि (Pisces)

मीन राशि वाले भावुक और कल्पनाशील होते हैं।

  • पंचम भाव में चंद्र-शुक्र की युति प्रेम विवाह का योग बनाती है।
  • इनका प्रेम अक्सर आध्यात्मिक और गहरा होता है।

लव मैरिज योग में मुख्य ग्रह

  • शुक्र (Venus) – प्रेम, आकर्षण और विवाह का कारक।
  • राहु (Rahu) – परंपरा को तोड़कर प्रेम विवाह करवाता है।
  • चंद्र (Moon) – भावनात्मक जुड़ाव और रोमांस का कारक।
  • मंगल (Mars) – जोश और आकर्षण से विवाह तक पहुँचाता है।

लव मैरिज और इंटरकास्ट मैरिज योग

  • पंचम भाव पर राहु और सप्तम भाव पर शुक्र होने पर अंतरजातीय विवाह की संभावना बढ़ जाती है।
  • दशम भाव पर चंद्र और शुक्र का संबंध भी विवाह को परंपरा से अलग दिशा देता है।

राशिफल और लव मैरिज संभावनाएँ

  • आग्नि तत्व (मेष, सिंह, धनु) – साहसी, प्रेम विवाह की अधिक संभावना।
  • पृथ्वी तत्व (वृषभ, कन्या, मकर) – परंपरागत, पर राहु-शुक्र होने पर लव मैरिज।
  • वायु तत्व (मिथुन, तुला, कुंभ) – सामाजिक और आधुनिक, लव मैरिज की सबसे अधिक संभावना।
  • जल तत्व (कर्क, वृश्चिक, मीन) – भावुक और गहरे रिश्तों वाले, लव मैरिज प्रबल।

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अंत मे

जन्म कुंडली (Kundali) में लव मैरिज के योग अलग-अलग राशियों और ग्रहों की स्थिति पर निर्भर करते हैं। मेष, मिथुन, तुला और कुंभ राशि वाले जातकों में लव मैरिज की संभावना सबसे अधिक होती है। वहीं, वृषभ, कन्या और मकर राशि वाले जातकों को प्रेम विवाह के लिए विशेष योग की आवश्यकता होती है।

DivyayogAshram के अनुसार, यदि किसी की कुंडली में पंचम और सप्तम भाव पर शुक्र, राहु और चंद्र का अच्छा संबंध हो तो निश्चित रूप से प्रेम विवाह होता है।


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