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Maha shivaratri Rules

महाशिवरात्रि के दिन इस नियम का पालन करके अपने आपको पूरी तरह से भगवान शिव की पूजा मे लीन कर देना चाहिये।

  • क्रोध और नकारात्मक विचार: महाशिवरात्रि के दिन क्रोध, ईर्ष्या, द्वेष और नकारात्मक विचारों से दूर रहना चाहिए। मन में शांति और सकारात्मकता बनाए रखना महत्वपूर्ण है।
  • मांसाहार और मदिरापान: इस दिन मांसाहार और मदिरापान से पूरी तरह से परहेज करना चाहिए।
  • झूठ बोलना और धोखा देना: महाशिवरात्रि के दिन सत्य बोलना और दूसरों के साथ ईमानदारी से व्यवहार करना महत्वपूर्ण है।
  • बालों में कंघी और तेल लगाना: इस दिन बालों में कंघी और तेल नहीं लगाना चाहिए।
  • दिन में सोना: महाशिवरात्रि के दिन जागरण करना और भगवान शिव का भजन करना महत्वपूर्ण है।
  • दूसरों को परेशान करना: इस दिन किसी भी प्राणी को परेशान नहीं करना चाहिए, दान पुण्य करना उत्तम है।
  • जूठे बर्तन का उपयोग: महाशिवरात्रि के दिन जूठे बर्तन का उपयोग नहीं करना चाहिए।
  • शिवलिंग पर भस्म लगाना: भस्म केवल योगी और संन्यासी ही लगाते हैं। यदि आप इनमें से नहीं हैं, तो शिवलिंग पर भस्म न लगाएं।
  • शिवलिंग को स्पर्श करना: महाशिवरात्रि के दिन शिवलिंग को स्पर्श करने से बचना चाहिए।
  • महिलाओं के लिए: महाशिवरात्रि के दिन महिलाओं को रजस्वला होने पर व्रत नहीं रखना चाहिए।

यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि ये नियम केवल मार्गदर्शन के लिए हैं।

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Frequently Asked Questions

1. महाशिवरात्रि क्या है?

महाशिवरात्रि हिंदू धर्म का एक प्रमुख त्योहार है, जो भगवान शिव की आराधना के लिए समर्पित है। यह फाल्गुन मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाता है।

2. महाशिवरात्रि क्यों मनाई जाती है?

महाशिवरात्रि भगवान शिव और माता पार्वती के विवाह की रात के रूप में मनाई जाती है। यह दिन शिव भक्तों के लिए विशेष महत्व रखता है क्योंकि इसे भगवान शिव की पूजा और उनके आशीर्वाद प्राप्त करने का पर्व माना जाता है।

3. महाशिवरात्रि के दिन क्या किया जाता है?

इस दिन भक्तगण व्रत रखते हैं, शिवलिंग का अभिषेक करते हैं, पूजा और आरती करते हैं, और रातभर जागरण कर भजन-कीर्तन करते हैं।

4. महाशिवरात्रि का व्रत कैसे रखा जाता है?

व्रत सूर्योदय से शुरू होकर अगले दिन सूर्योदय तक चलता है। इसमें पूरे दिन और रात उपवास किया जाता है, और शिवलिंग की पूजा की जाती है। व्रत का पारण अगले दिन सूर्योदय के बाद किया जाता है।

5. महाशिवरात्रि की पूजा विधि क्या है?

  1. स्नान: स्नान कर स्वच्छ कपड़े पहनें।
  2. शिवलिंग का अभिषेक: गंगाजल, दूध, दही, घी, शहद और शक्कर से अभिषेक करें।
  3. फूल और बेलपत्र: शिवलिंग पर बेलपत्र, धतूरा, और फूल चढ़ाएं।
  4. धूप-दीप: धूप और दीप जलाएं।
  5. मंत्र जाप: ओम नमः शिवाय मंत्र का जाप करें।
  6. आरती: शिव जी की आरती करें।
  7. जागरण: पूरी रात जागरण करें और भजन-कीर्तन करें।

6. महाशिवरात्रि का महत्व क्या है?

महाशिवरात्रि का महत्व भगवान शिव की कृपा प्राप्त करने, जीवन में सुख-समृद्धि लाने, और सभी पापों का नाश करने में है। इस दिन की पूजा विशेष फलदायी मानी जाती है।

7. महाशिवरात्रि की पूजा का शुभ मुहूर्त क्या है?

महाशिवरात्रि की पूजा रातभर की जाती है और चार पहरों में विभाजित होती है:

  • पहला पहर: रात 6 बजे से 9 बजे तक
  • दूसरा पहर: रात 9 बजे से 12 बजे तक
  • तीसरा पहर: रात 12 बजे से 3 बजे तक
  • चौथा पहर: रात 3 बजे से सुबह 6 बजे तक

8. महाशिवरात्रि का व्रत कौन रख सकता है?

महाशिवरात्रि का व्रत कोई भी व्यक्ति, चाहे महिला हो या पुरुष, रख सकता है। इसे बच्चों और बुजुर्गों के लिए भी सुरक्षित माना जाता है।

9. क्या महाशिवरात्रि के दिन विशेष भोजन बनाया जाता है?

महाशिवरात्रि के दिन व्रत रखने वाले व्यक्ति फल, दूध, और उपवास के अन्य पदार्थों का सेवन करते हैं। कुछ लोग साबूदाना खिचड़ी, फलाहारी आलू, और सिंघाड़े का आटा से बने पकवान भी खाते हैं।

10. महाशिवरात्रि पर कौन से मंत्र का जाप करना चाहिए?

महाशिवरात्रि पर “ॐ नमः शिवाय” मंत्र का जाप सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। इसके अलावा, शिव पंचाक्षर स्तोत्र और रुद्राष्टक का पाठ भी किया जा सकता है।

11. क्या महाशिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर जल चढ़ाना अनिवार्य है?

हां, शिवलिंग पर जल चढ़ाना महाशिवरात्रि के दिन विशेष रूप से महत्वपूर्ण माना जाता है। यह भगवान शिव को शीतलता प्रदान करने का प्रतीक है।

12. क्या महाशिवरात्रि पर कोई विशेष कहानी सुनाई जाती है?

महाशिवरात्रि के दिन शिव पुराण, शिव विवाह की कथा, और अन्य शिव संबंधित कहानियां सुनाई जाती हैं।

13. क्या महाशिवरात्रि का व्रत रखने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं?

मान्यता है कि महाशिवरात्रि का व्रत रखने और भगवान शिव की सच्ची भक्ति करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।

14. क्या महाशिवरात्रि पर किसी विशेष दिशा में बैठकर पूजा करनी चाहिए?

महाशिवरात्रि पर उत्तर दिशा की ओर मुख करके पूजा करना शुभ माना जाता है।

15. क्या महाशिवरात्रि पर जागरण करना आवश्यक है?

हां, महाशिवरात्रि पर जागरण करना भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त करने के लिए आवश्यक माना जाता है।

16. महाशिवरात्रि के दिन क्या करना वर्जित है?

महाशिवरात्रि के दिन तामसिक भोजन (मांस, मछली, प्याज, लहसुन) का सेवन वर्जित है। साथ ही, किसी भी प्रकार की नकारात्मक गतिविधियों से बचना चाहिए।

17. महाशिवरात्रि पर भगवान शिव के कौन से रूप की पूजा की जाती है?

महाशिवरात्रि पर शिवलिंग के रूप में भगवान शिव की पूजा की जाती है।

18. क्या महाशिवरात्रि के दिन मंदिर जाना आवश्यक है?

मंदिर जाना शुभ माना जाता है, लेकिन यदि संभव न हो तो घर पर भी शिवलिंग की पूजा की जा सकती है।

19. महाशिवरात्रि का व्रत कैसे तोड़ा जाता है?

व्रत का पारण अगले दिन सूर्योदय के बाद फल, दूध, और अन्य सात्विक भोजन से किया जाता है।

20. क्या महाशिवरात्रि पर दान करना शुभ माना जाता है?

हां, महाशिवरात्रि पर दान करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है। यह पुण्य और भगवान शिव की कृपा प्राप्त करने का एक माध्यम है।

महाशिवरात्रि का व्रत और पूजा विधि का पालन करने से भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है और जीवन में सभी प्रकार के सुख, शांति और समृद्धि का संचार होता है।

BOOK (29-30 MARCH 2025) PRATYANGIRA SADHANA SHIVIR AT DIVYAYOGA ASHRAM (ONLINE/ OFFLINE)

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